
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने हाल ही में एक ऐसा कदम उठाया है, जिससे उन नियोक्ताओं को राहत मिलेगी जो तकनीकी समस्याओं के कारण अपने कर्मचारियों के पुराने EPF बकाया का भुगतान Electronic Challan-cum-Return (ECR) प्रणाली के माध्यम से नहीं कर पा रहे थे। 4 अप्रैल 2025 को जारी एक आधिकारिक सर्कुलर में EPFO ने स्पष्ट किया कि अब ऐसे मामलों में एक बार के लिए डिमांड ड्राफ्ट (DD) के जरिए भुगतान की अनुमति दी जाएगी।
ECR के विकल्प के रूप में DD, लेकिन सिर्फ एक बार के लिए
EPFO ने यह स्पष्ट किया है कि ECR और इंटरनेट बैंकिंग ही भविष्य में भी मानक भुगतान प्रणाली बनी रहेंगी। डिमांड ड्राफ्ट का विकल्प केवल उन्हीं मामलों में लागू होगा जहां तकनीकी बाधाएं भुगतान में अड़चन पैदा कर रही हों। यह एक बार का समाधान होगा, जिससे नियोक्ता पुराने बकाया का निपटारा कर सकें।
इस प्रक्रिया के अंतर्गत, नियोक्ता को यह साबित करना होगा कि वह केवल एक बार के पुराने भुगतान के लिए ही यह विकल्प अपना रहा है और भविष्य में केवल इंटरनेट बैंकिंग का उपयोग करेगा। डिमांड ड्राफ्ट EPFO के क्षेत्रीय कार्यालय के प्रभारी अधिकारी (RPFC-in-Charge) के नाम पर बनाया जाएगा और उसी बैंक ब्रांच में देय होगा जहां EPFO का स्थानीय कार्यालय स्थित है।
सत्यापन के लिए अंडरटेकिंग अनिवार्य
डिमांड ड्राफ्ट के माध्यम से भुगतान करने से पहले, EPFO नियोक्ता से एक अंडरटेकिंग अनिवार्य रूप से लेगा। इस अंडरटेकिंग में उन सभी कर्मचारियों की सूची शामिल होगी, जिन्हें यह भुगतान किया जाना है। यह सूची भविष्य में दावों के सत्यापन में सहायक होगी। साथ ही, नियोक्ता को उस अवधि से संबंधित सभी आवश्यक रिटर्न भी दाखिल करने होंगे, ताकि प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और नियमानुसार हो।
ब्याज और दंड यथावत रहेंगे
EPFO ने यह भी स्पष्ट किया है कि पुराने बकाया पर लागू ब्याज और दंड (damages) की गणना और वसूली EPFO के Compliance Manual के अनुसार की जाएगी। यानी डिमांड ड्राफ्ट का विकल्प लेने से नियोक्ता इन शुल्कों से मुक्त नहीं होंगे, बल्कि उन्हें सभी वित्तीय उत्तरदायित्वों का पालन नियमानुसार करना होगा।
कर्मचारियों को समय पर पैसा मिलने की उम्मीद
इस निर्णय से सबसे बड़ा लाभ कर्मचारियों को मिलेगा, जिन्हें तकनीकी वजहों से उनके फंड में अटका पैसा नहीं मिल पा रहा था। अब जब नियोक्ता को भुगतान का एक वैकल्पिक रास्ता मिल गया है, तो कर्मचारियों को उनकी राशि मिलने की संभावना बढ़ गई है। इससे भविष्य में EPF दावे की प्रक्रिया भी अधिक पारदर्शी और समयबद्ध हो सकेगी।